इमिग्रेशन नीतियों की ताज़ा जानकारी – क्या बदल रहा है?
इमिग्रेशन यानी विदेश में बसने या काम करने के नियम। हर साल सरकारें नियम बदलती हैं, इसलिए अपडेट रहना ज़रूरी है। इस पेज पर हम आपको भारत और दुनियाभर की प्रमुख इमिग्रेशन नीतियों के बारे में आसान भाषा में बता रहे हैं, ताकि आप सही फ़ैसला ले सकें।
भारत की नई इमिग्रेशन पहल
भारत ने हाल के सालों में कई महत्त्वपूर्ण बदलाव किए हैं। सबसे बड़ा बदलाव OCI (ओवरसीज सिटिजन ऑफ़ इंडिया) के लिए इलेक्ट्रॉनिक प्रक्रिया है – अब फार्म भरना और डॉक्यूमेंट अपलोड करना घर बैठे ही हो जाता है। साथ ही, ई-वीजा को 30 सेकंड में स्वीकृति मिल सकती है, जिससे पर्यटन, व्यापार या मेडिकल ट्रीटमेंट के लिए यात्रा आसान हुई।
ऐसे बदलाव का मुख्य कारण विदेशी निवेश और पर्यटन को बढ़ावा देना है। अगर आप भारत में नौकरी या पढ़ाई करना चाहते हैं, तो पब्लिक चॉइस वर्क वीज़ा के तहत पंजीकरण कर सकते हैं – यह वीज़ा दो साल तक वैध रहता है और जल्दी रिन्यॉलेशन की सुविधा देता है।
दुनिया भर में इमिग्रेशन के ट्रेंड
दुनिया में बड़ी शक्तियों की इमिग्रेशन नीतियां लगातार बदल रही हैं। यूएसए ने पिछले साल H-1B वीज़ा लॉटरी प्रक्रिया में शॉर्टकट बंद कर दिया, जिससे अब क्यूम्यूलेटिव प्वाइंट सिस्टम लागू किया गया है। यूरोपीय यूनियन ने डिजिटल नोमैड वीज़ा लॉन्च किया, जिससे टेक प्रोफेशनल्स 12 महीने तक बिना नौकरी के रहने की अनुमति पा सकते हैं।
कनाडा ने एक्सप्रेस एंट्री सिस्टम को अपडेट कर स्कोरिंग में भाषा कौशल और काम के अनुभव को ज्यादा वेटेज दिया है। इससे उन लोगों को जल्दी PR (परमानेंट रेसिडेंट) मिलने की संभावना बढ़ी है, जो इंग्लिश या फ्रेंच दोनों में प्रवीण हैं।
इन बदलावों का एक ही मकसद है – कुशल कामगारों को आकर्षित करना और अनियमित प्रवास को कम करना। अगर आप विदेश में नौकरी या पढ़ाई की सोच रहे हैं, तो इन नई नीतियों को समझना आपके लिए फायदेमंद रहेगा।
तो, अब आप इमिग्रेशन नीतियों की बेसिक समझ रखेंगे और अपडेटेड जानकारी से लैस हैं। अगर कोई विशेष वीज़ा या नियम के बारे में पूछना है, तो नीचे कमेंट सेक्शन में लिखिए – हम यथासंभव मदद करेंगे।
विवेक रामास्वामी: भारतीय पासपोर्ट धारक पिता और अमेरिका की नागरिक माँ के कारण विवाद
भारतीय-अमेरिकी उद्यमी और राजनेता विवेक रामास्वामी, जिन्होंने राष्ट्रपति पद के लिए अपनी महत्वाकांक्षाएं जाहिर की हैं, की इमिग्रेशन नीतियों के कारण सुर्खियों में हैं। उनके पिता भारतीय पासपोर्ट धारक हैं जबकि उनकी माँ अमेरिकी नागरिक बन चुकी हैं। विवेक का विचार है कि अवैध प्रवासियों के बच्चों की जन्म आधारित नागरिकता समाप्त की जानी चाहिए।